शनि का गोचर बीते 29 मार्च को मीन राशि में हुआ था। शनि की चाल धीमी होती है। शनि के गोचर से तीन राशियों पर साढ़ेसाती का असर पड़ रहा है। इस दौरान सावधानी बरतने की जरूरत होती है। शनि के प्रभाव को शांत करने के लिए कुछ उपाय किए जा सकते हैं। तीन राशियों पर साढ़ेसाती का असर हो रहा है।

मेष राशि की साढ़ेसाती शुरू हो रही है। कुंभ राशि के जातकों की साढ़ेसाती का अंतिम चरण शुरू हो गया है। शनि के गोचर के साथ ही अब कुंभ राशि वालों की उतरती साढ़ेसाती शुरू हुई है, जिसकी अवधि ढाई साल की होगी।

ऐसे में शनि की साढ़ेसाती का मिलाजुला प्रभाव देखने को मिलेगा। कुंभ राशि वालों को कुछ सकारात्मक परिणाम मिलेंगे, जबकि कुछ परेशानियां भी होंगी।

मीन की साढ़ेसाती उतर रही है और मीन की साढ़ेसाती का मध्य चरण शुरू हो रहा है। शनि के गोचर के साथ ही मीन राशि के जातकों की साढ़ेसाती का मध्य चरण शुरू हो गया है। यानी पहले ढाई साल का समय पूरा हो गया है। शनि अब इस राशि में जगह बना चुके हैं।

ऐसे में शनि की साढ़ेसाती से सबसे ज्यादा मीन राशि के जातकों को सावधान रहने की आवश्यकता है। इनके लिए चुनौतीपूर्ण समय शुरू हो सकता है। शारीरिक, मानसिक परेशानियों का सामना करना पड़ सकता है।

इस अवधि में आत्मविश्वास की कमी हो सकती है। जीवनसाथी के साथ संबंधों में उतार-चढ़ाव हो सकता है। करियर में कुछ समस्याएं आ सकती हैं। कारोबार में सोच-समझकर निर्णय लें।

इस दौरान कार्यों को टालने की प्रवृत्ति आ सकती है। उम्मीद के अनुसार परिणाम मिलने में समय लग सकता है। लेकिन धैर्य बनाए रखें। लापरवाही से बचें।
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