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अयोध्या: नेपाल की पवित्र नदियों के जल से होगा रामलला का जलाभिषेक

अयोध्या में भगवान राम का भव्य मंदिर बनकर तैयार हो रहा है। 22 जनवरी, 2024 को पीएम मोदी राम और सीता की मूर्ति की प्राण प्रतिष्ठा करेंगे। इसके लिए तैयारियां जोरों पर चल रही हैं। वहीं, रामलला का जलाभिषेक नेपाल की मुख्य नदियों के जल से होगा। इसके लिए नेपाल के जनकधाम से कई पवित्र नदियों का जल संग्रह कर अयोध्या के लिए जल अभिषेक यात्रा का जत्था रवाना होगा चुका है। यह जत्था 28 दिसंबर, 2023 दिन बृहस्पतिवार की देर रात बिहार के गोपालगंज पहुंचा। इस जल से अयोध्या में भगवान राम और सीता की मूर्ति का जलाभिषेक किया जाएगा।

ससुराल के जल से होगा रामलला का जलाभिषेक, 29 दिसंबर को अयोध्या पहुंचेगा नेपाल  का रथ - Raxaul Water from various rivers of Nepal will be used for  Jalabhishek at the time

नेपाल के बीरगंज के रहने वाले श्रद्धालु दीपेंद्र कुमार गुप्ता ने बताया कि नेपाल के बीरगंज के रहने वाले है. नेपाल के कई पवित्र नदियों से यह जल इकट्ठा किया गया है और कलश में रखा गया है. उसे अयोध्या लेकर जा रहे है. उन्होंने बताया कि आगामी 22 जनवरी को अयोध्या में श्रीराम और माता सीता का इसी जल से जलाभिषेक किया जाएगा।

उन्होंने बताया कि भगवान राम के ससुराल और सीता माता की जन्मस्थली जनक धाम से यह जलयात्रा निकली है. सीता माता के मायके से होते हुए यह रथ अयोध्या पहुंचेगी. जहां रामलला की मूर्ति और माता सीता के मूर्ति पर जलाभिषेक किया जाएगा. यह पवित्र जल नेपाल की प्रमुख नदियां, जिसमें टंडली, महाकाली, नारायणी, त्रिवेणी, गंडकी, कोसी का जल शामिल हैं।

श्रद्धालु ने बताया कि वह इस पवित्र जल को लेकर अयोध्या के लिए 27 दिसंबर, 2023 दिन बुधवार को सुबह 10 बजे से निकले है. उन्हें गोपालगंज आने में करीब 14 घंटा लगा है. हर जगह रास्ते में लोगों का भीड़ और जन समर्थन देखने को मिला, जिससे वे काफी उत्साहित है. उनका प्रयास है कि यह जल 29 दिसंबर दिन शुक्रवार की शाम तक अयोध्या पहुंच जाएगा।

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