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नपुंसकता (Impotency) से बचाव के लिए स्वस्थ और संतुलित आहार का सेवन करना आवश्यक

नपुंसकता (Impotency) के कई कारण हो सकते हैं जैसे- दवाइयों का सेवन (Medication), शराब या धूम्रपान, शारीरिक कमजोरी, मधुमेह आदि. पुरुषों (Men) में होने वाला यह एक आम विकार है.

सेक्स के दौरान लिंग में उत्तेजना न आने या उत्तेजना को बनाए न रख पाने की समस्या को इरेक्टाइल डिसफंक्शन यानी नपुंसकता (Impotency) कहते हैं. यह समस्या धीरे-धीरे हीन भावना का रूप भी ले लेती है. नपुंसकता के कई कारण हो सकते हैं जैसे- दवाइयों का सेवन (Medication), शराब या धूम्रपान, शारीरिक कमजोरी, मधुमेह आदि. पुरुषों (Men) में होने वाला यह एक आम विकार है. हालांकि, सामाजिक कारणों से इस बारे में चर्चा बंद कोठरियों में ही होती है. भारत (India) जैसे देश में तो ज्यादातर लोग डॉक्टरों से भी इस बारे में बात करने से संकोच करते हैं. अगर इस समस्या के बारे में जल्द किसी डॉक्टर से सलाह न ली जाए तो यह कई प्रकार की मनोवैज्ञानिक-सामाजिक समस्याओं को भी जन्म दे सकता है. आइए इस समस्या के बारे में विस्तार से जानते हैं.

क्या होती है नपुंसकता

नपुंसकता यानी इरेक्टाइल डिसफंक्शन (ईडी) एक ऐसी स्थिति है, जिसमें पुरुष अपने साथी के साथ संतोषजनक संभोग नहीं कर पाता है. वैज्ञानिक रूप से इसे ऐसे समझा जा सकता है. संभोग के दौरान लिंग का लगातार उत्तेजित रहना आवश्यक होता है. इस उत्तेजना के बने रहने के लिए लिंग में लगातार रक्त की आपूर्ति होनी चाहिए. चूंकि लिंग में कोई हड्डी नहीं होती है, जिसकी मदद से उसमें तनाव बना रहे, ऐसे में तंत्रिका तंत्र के साथ रक्त वाहिकाएं इस कार्य को करती हैं. लिंग की धमनी में रक्त का अपर्याप्त प्रवाह, उम्र के कारण धमनी का सख्त होना (एथेरोस्क्लेरोसिस), डायबिटीज, मोटापा, धूम्रपान आदि समस्याएं हैं जो ईडी के प्रमुख कारण हैं. सबसे बड़ी और खुशी की बात यह है कि यह लाइलाज नहीं है. कई बार दवाइयों, हार्मोन थेरेपी और प्रत्यारोपण जैसे इलाजों से इस समस्या को ठीक किया जा सकता है. कई बार इस समस्या के अंतर्निहित कारण का इलाज करना ही नपुंसकता को ठीक करने के लिए काफी होता है.

प्राइमरी इंपोटेंसी – यह ऐसी अवस्था है, जिसमें कभी भी लिंग में उत्तेजना नहीं हो पाती है. इसका प्रमुख कारण लिंग की संरचना, लिंग में चोट या तंत्रिकाओं में किसी प्रकार की समस्या हो सकती है.

सेकेंडरी इंपोटेंसी – इस स्थिति में लिंग में पहले तो उत्तेजना आ रही थी, लेकिन कई अन्य कारणों से अब यह समस्या उत्पन्न हो रही है.

सिचुएशनल इंपोटेंसी – इस स्थिति में हस्तमैथुन के दौरान तो लिंग उत्तेजित होता है, लेकिन संभोग के दौरान यह उत्तेजना नहीं बन पाती है.

टोटल इंपोटेंसी – यह ऐसी स्थिति है, जिसमें न तो लिंग में पहले उत्तेजना हुई होती है न ही भविष्य में कोई संभावना होती है.

नपुंसकता के लक्षण

आपको इरेक्टाइल डिसफंक्शन की समस्या हो सकती है यदि – लिंग में उत्तेजना लाने में परेशानी हो रही हो.

यौन क्रियाओं के दौरान उत्तेजना को बनाए रखने में कठिनाई होती हो.

सेक्स करने की इच्छा में कमी.

समय से पहले स्खलन.

प्रयाप्त उत्तेजना होने के बाद भी संभोग सुख प्राप्त करने में असमर्थता.

नपुंसकता के कारण

नपुंसकता के कई कारण हो सकते हैं. इसमें भावनात्मक और शारीरिक दोनों विकार शामिल हैं. अधिकांश यह वाहिकाओं, न्यूरोलॉजिक, साइकोलॉजिक और हार्मोन संबंधी विकारों के कारण होता है. इसके कुछ सामान्य कारण निम्नलिखित हैं.

हाई ब्लड प्रेशर या हृदय संबंधी रोग

हाई कोलेस्ट्रॉल के कारण रक्त वाहिकाओं में रुकावट (एथेरोस्क्लेरोसिस) आ जाने के कारण

डायबिटीज

मोटापा

कुछ दवाओं के साइड इफेक्ट के कारण

तंबाकू उत्पादों, शराब या अन्य मादक पदार्थों के ज्यादा सेवन के कारण

तनाव के कारण

बढ़े हुए प्रोस्टेट ग्रंथि के कारण

रीढ़ की हड्डी की सर्जरी, जिससे तंत्रिकाओं को क्षति पहुंची हो

अवसाद, चिंता और अन्य मानसिक स्वास्थ्य के कारण

इरेक्टाइल डिसफंक्शन समस्या की रोकथाम

खाने-पीने और रहने के तरीकों में बदलाव कर इरेक्टाइल डिसफंक्शन यानी नपुंसकता को कुछ हद तक ठीक किया जा सकता है. जीवनशैली में बदलाव कर कई लोगों को लाभ मिला है. जीवनशैली में आप यह निम्न परिवर्तन लाकर काफी हद तक इस समस्या को सही कर सकते हैं.

स्वस्थ और संतुलित आहार का सेवन करें.

धूम्रपान, शराब जैसे मादक पदार्थों का सेवन कम या ना करें.

वजन कम करें.

तनाव मुक्त रहें.

ब्लड शुगर और ब्लड प्रेशर को नियंत्रित रखें.

मेडिटेशन और योग अभ्यास कर मानसिक तौर पर शांत रहने का प्रयास करें.

इरेक्टाइल डिसफंक्शन का इलाज

इरेक्टाइल डिसफंक्शन का इलाज उसके कारणों पर निर्भर करता है. उपरोक्त उपायों से आपको लाभ न मिले तो अपने डॉक्टर से संपर्क करें. वह जांच करके आपकी समस्या के पीछे की वजह जानकर इसका इलाज करेंगे. आम तौर पर दी जाने वाली दवाएं यौन उत्तेजना को बढ़ाती हैं, जिससे लिंग में तनाव उत्पन्न होता है. ध्यान रखें बिना किसी डॉक्टरी सलाह के कोई भी दवा लेना हानिकारक हो सकता है. यदि आपकी नपुंसकता के पीछे कोई मनोवैज्ञानिक कारण है तो डॉक्टर आपको किसी मनोवैज्ञानिक के पास भेज सकते हैं.

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