केंद्र सरकार ने 29 एवं 30 अक्टूबर को दिल्ली में मैटरनल पेरिनेटल चाइल्ड डेथ सर्विलांस एंड रिस्पांस (एमपीसीडीएसआर) वेबसाइट लॉन्च की है।जिसके माध्यम से बच्चे के जन्म पर मातृ-शिशु की होने वाली मृत्यु के कारणों को साइट पर अपलोड किया जा सकेगा। इसके माध्यम से प्रसव के दौरान व उसके बाद होने वाली मौतों के कारणों की पहचान और निदान कर मृत्यु दर में कमी लाई जा सकेगी।
बिहार के डॉक्टरों व अन्य लोगों को भी ट्रेनिंग दी गई। इस वेबसाइट पर किस प्रकार जानकारियां अपलोड की जाएं। बिहार के जिन लोगों ने ट्रेनिंग हासिल की, उनके द्वारा सभी जिलों के नोडल पदाधिकारी ऑनलाइन ट्रेनिंग दी गई है। स्वास्थ्य मंत्री मंगल पांडेय ने कहा कि राज्य में शीघ्र इससे संबंधित आंकड़ों को अपलोड करने की प्रक्रिया शुरू कर दी जाएगी। इससे राज्य में मातृ स्वास्थ्य व नवजात स्वास्थ्य के प्रति सकारात्मक बदलाव लाया जा सकेगा।
स्वास्थ्य विभाग के अनुसार जब राज्य के सभी स्वास्थ्यकर्मियों को ट्रेनिंग उपलब्ध करा दी जाएगी तो वो संबंधित डाटा को संग्रह कर अपलोड करने की प्रक्रिया प्रारंभ होगी। जन्म से 42 दिनों के भीतर होने वाली मृत्य के कारणों को अपलोड वेबसाइट पर अपलोड किया जाएगा। जिससे आने वाले समय में ऐसी मौत में कमी लायी जा सके। जिन लोगों ने केंद्रीय टीम से ट्रेनिंग ली उनमें एसकेएमसीएच की प्रसूती विभाग की एचओडी, पीएमसीएच की एक एसोसिएट प्रोफेसर, एचएमआईएस (हेल्थ मैनेजमेंट इन्फारमेशन सिस्टम), राज्य स्वास्थ्य समिति के इंचार्ज व पेडियाट्रिक से भी कुछ शामिल है।
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