MUZAFFARPUR (ARUN KUMAR) : सूबे के का’रा में बं’दियों में सकारात्मक सोच और सृज’नात्मक वातावरण का निर्माण करने की दिशा में राज्य सरकार ने सूबे के सभी का’राओं में आज शनिवार 12 दिसम्बर को ‘का’रा दिवस’ के रूप में मनाया गया. राज्य के पुलिस उपमहानिरीक्षक कारा मिथिलेश मिश्रा द्वारा सबसे पहला जे’ल मैन्युअल लागू करने के दिवस (12 दिसम्बर 2012) को “का’रा दिवस” के रूप में मनाये जाने का निर्णय लिया गया था, जिस सम्बन्ध में सूबे के केंद्रीय कारा, मण्डल का’रा, उप का’रा और सभी मुक्त का’रागार के अधीक्षकों को एडवा’इजरी जारी कर इस दिवस को धूमधाम से मनाये जाने के निर्दे’श दिए गए थे.
इस कड़ी में आज मुजफ्फरपुर स्थित शही’द खुदीराम बोस केंद्रीय का’रा में जिलाधिकारी डॉ. चंद्रशेखर सिंह, जिला एवं सत्र न्या’याधीश सह जिला वि’धिक सेवा प्राधिकार के अध्यक्ष अनिल कुमार सिन्हा, जिला वि’धिक सेवा प्राधिकार के सचिव राजीव रंजन सिंह, प्रधान प्रोबेशन पदाधिकारी/प्रोबेशन पदाधिकारी, उप विकास आयुक्त, जिला विधिक प्राधिकार के सदस्यों तथा परिदर्शक परिषद के सदस्य के साथ ही कारा के जे’लर सह प्रभारी जे’ल अधीक्षक सुनील कुमार मौर्या उपस्थित रहे.
का’राओं में प्रतिनियुक्त पदाधिकारियों, कर्मियों को प्रोत्सा’हित करने, कारा में बं’दियों में सुधा’रात्मक कार्यक्रमों के प्रति सकारात्मक विचार विकसित करने, का’रा परिसर में सृज’नात्मक वातावरण का निर्माण करने एवं का’रा के सुधा’र कार्यक्रमों से सम्बद्ध सभी हितधारकों के उत्साहव’र्द्धन करने की दिशा में कुल 06 व्यक्तियों को पुर’स्कृत किया गया, जिनमें 03 कारा कर्मियों और 03 बं’दी शामिल हैं. पुरस्कृत होने वालों में मुख्य उप कक्षपाल प्रभारी हरेंद्र शर्मा, द’फा इंचार्ज शंकर पासवान और एक महिला कक्ष पल को पुर’स्कृत किया गया. महिला कक्षपाल को का’रा के बं’दियों के बच्चों को शिक्षा देने जैसे पुनीत कार्य करने हेतु पुरस्कृत किया गया. वहीं कृषि, बागवानी और अन्य सृज’नात्मक व प्रोत्साहन के कार्य करने हेतु 03 बं’दियों को जिला एवं सत्र न्यायाधीश एवं उप विकास आयुक्त द्वारा पुर’स्कृत किया गया.
मौके पर जिलाधिकारी डॉ. चंद्रशेखर सिंह और जिला एवं सत्र न्या’याधीश अनिल कुमार सिन्हा ने बं’दियों को सम्बोधित किया और कहा कि मानव जीवन में अधिकारों के साथ-साथ कर्तव्य भी होते है. मनुष्य को अच्छी सोच के साथ सत्क’र्म करने चाहिए ताकि जीवन को सुधा’रा व उपयोगी बनाया जा सके. प्रभारी जेल अधीक्षक इस के मौर्या ने बताया की का’रा दिवस के प्रथम आयोजन के दौरान जिलाधिकारी और जिला जज के साथ ही आमंत्रित सभी प्रशासनिक अधिकारी पूर्णतः सं’तुष्ट दिखे और उन्होंने आयोजन की तैयारियों की प्रशं’सा भी की. उन्होंने कहा इतने काम समय में इतनी अच्छी व्यव’स्था जे’ल प्रशासन की बेहतर कार्यप्रणाली को प्रद’र्शित करती है. जे’लें न केवल का’रागार हैं बल्कि सुधा’रगृह भी हैं. यहाँ बं’दियों के बौद्धिक विकास के द्वारा विकास का मार्ग प्रश’स्त किया जाता है. जिला एवं सत्र न्यायाधीश श्री सिन्हा ने का’रा की सा’फ़ स’फाई एवं बं’दियों के अनुशा’सन की काफी सरा’हना की.
का’रा दिवस के मौके पर शही’द खुदीराम बोस केंद्रीय का’रा में कोविड-19 के प्रसा’र को रो’कने एवं संक्र’मण से बचाव से सम्बंधित सभी प्रोटोकॉल और सरकार द्वारा जारी गाइडलाइन का दृढ़ता से अनुपा’लन करते हुए उल्लासपूर्वक वातावरण में कई कार्यक्रम आयोजित किये गए थे. इस के साथ ही बं’दियों में सका’रात्मक ऊर्जा के संचार हेतु ‘का’रा दिवस’ के सांध्यकालीन सत्र में खेलकूद एवं सांस्कृतिक कार्यक्रम भी आयोजित किये गए. इससे पूर्व आगत अतिथियों ने संयुक्त रूप से दीप प्रज्ज्व’लित कर समारोह का उद्घाटन किया.
बता दें कि अंग्रेजों के जमाने के मैनुअल को 88 वर्षों के बाद बदलते हुए आठ वर्ष पहले नया जे’ल मैनु’अल 12 दिसंबर 2012 को लागू किया गया था. इसमें कई पुराने ऐसे कानून-नि’यम ख’त्म हो गए थे, जिनकी जरू’रत नहीं रह गई थी. इसके पहले अंग्रेजी राज में वर्ष 1924 में जे’ल मैनुअल को संशो’धित किया गया था. सबसे पहला जे’ल मै’न्युअल लागू करने के दिवस (12 दिसम्बर 2012) को “का’रा दिवस” के रूप में मनाये जाने का नि’र्णय लिया गया है.
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