मुजफ्फरपुर: स्कूलों से 23 लाख बच्चों के नाम काटे गए पर मेधा सॉफ्ट पोर्टल पर इनके नाम मौजूद हैं। इसे हटाने के लिए ऐसे बच्चों को चिन्हित करने के निर्देश जिले के अधिकारियों को दिए गए हैं। सूबे में सरकारी स्कूलों में लगातार अनुपस्थिति के कारण इन बच्चों का नामांकन रद्द किया गया है। अब इनका नाम मेधा सॉफ्ट से भी हटेगा। एक सप्ताह में इन बच्चों को चिन्हित कर नाम भेजने का आदेश दिया गया है। माध्यमिक शिक्षा निदेशक सह नोडल पदाधिकारी डीबीटी कोषांग कन्हैया प्रसाद श्रीवास्तव ने इसे लेकर निर्देश जारी किया है।
वित्तीय वर्ष 2023-24 के लिए वैसे छात्र-छात्राएं जिनका नामांकन रद्द किया है, उन्हें चिन्हित करते हुए एक सप्ताह के भीतर मेधा सॉफ्ट से हटाने की सुविधा उपलब्ध कराई गई है। प्रदेश में सबसे अधिक पूर्वी चंपारण व पश्चिमी चंपारण के बच्चों का नाम कटा है। मुजफ्फरपुर जिले में एक लाख से अधिक बच्चों का मेधा सॉफ्ट से नाम हटेगा और किसी भी तरह की स्कूली योजनाओं का लाभ नहीं मिलेगा। सूबे में 1.73 करोड़ से अधिक की मेधा सॉफ्ट पर इंट्री की जा चुकी है मगर नाम हटाने के बाद अब फाइनल सूची जारी होगी।
विभिन्न स्कूलों के हेडमास्टर ने बताया कि विभाग के निर्देशानुसार लगातार अनुपस्थित रहने वाले बच्चों का नामांकन रद्द कर देना है, लेकिन अगर अभिभावक शपथ पत्र देते हैं कि अब उनका बच्चा नियमित तौर से स्कूल आएगा तो उसका नाम जोड़ भी देना है। अभी मेधा सॉफ्ट पर से नाम हट जाएगा, लेकिन फिर नाम जुड़ा तो ये बच्चे सभी योजनाओं के लाभ से वंचित हो जाएंगे। इसे लेकर अधिकांश स्कूल उलझन में हैं। डीईओ अजय कुमार सिंह ने बताया कि सभी हेडमास्टर को नाम काटे गए बच्चों की सूची उपलब्ध कराने का आदेश दिया गया है।
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