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विदेशी जमातियों की जेल से रिहाई और वतन वापसी की कवायद तेज

विदेशी जमातियों की जल्द वतन वापसी को कवायद तेज, दूतावास हुए एक्टिव। विदेशी जमातियों की जेल से रिहाई और वतन वापसी की कवायद तेज हो गई है। उनके देश के भारत में मौजूद राजदूत और अफसर इस काम के लिए सक्रिय हो गए हैं।

विदेशी जमातियों की जेल से रिहाई और वतन वापसी की कवायद तेज हो गई है। उनके देश के भारत में मौजूद राजदूत और अफसर इस काम के लिए सक्रिय हो गए हैं। टूरिस्ट वीजा पर आकर धर्म का प्रचार करने, लॉकडाउन का उल्लंघन करने के आरोप समेत कई धाराओं में कानूनी शिकंजे में फंसे इन जमातियों को वतन कैसे वापस भेजा जाए, इसके लिए कानूनी राय ली जा रही है। जिन देशों के जमातीय भारत में जेल और अस्थाई जेलों में बंद हैं, उनके देश के अफसर उनसे मिलकर भरोसा दे रहे हैं कि जल्द रिहाई करा ली जाएगी। इस दिशा में यूपी के अफसरों से भी बात कर भारत सरकार से रिहाई का आग्रह करने का प्लान है।

दरअसल, खुलासा हुआ था कि सऊदी अरब, इंडोनेशिया, अफ्रीका, नेपाल, केन्या, सूडान, किर्गिस्तान, थाईलैंड आदि देशों के नागरिक टूरिस्ट वीजा पर भारत आते हैं और यहां इस्लाम धर्म का प्रचार करते हैं। जमाती बनकर पहले दिल्ली मरकज से देश के अलग-अलग हिस्सों में तय स्थान पर जाते हैं। जबकि यह गैरकानूनी हैं। यह परिपाटी सालों से चली आ रही हैं। देश में लॉकडाउन लगने के बाद दिल्ली मरकज से देश के कई हिस्सों में पहुंचे विदेशी जमातियों के रहने की खबर मिलने पर उनमें काफी तादाद में कोरोना पॉजिटिव मरीज मिले थे। तब अभियान चलाकर जमातियों को तलाशा गया और उनकी जांच कराई गई।

यूपी में बड़ी तादाद में मिले थे जमाती
वेस्ट यूपी समेत यूपी के बाकी हिस्सों में बड़ी तादाद में जमाती मिले थे। उनके पासपोर्ट जब्त कर उनके खिलाफ कई गंभीर धाराओं में एफआईआर दर्ज की गई थी। कोरोना रिपोर्ट निगेटिव आने के बाद इन विदेशी जमातियों को असम, झारखंड, बिहार, महाराष्ट्र, फरीदाबाद, दिल्ली, गुजरात, हरियाणा आदि में कई जगह जेल और कुछ जिलों में अस्थायी जेलों में रखा गया है। भारत के अन्य प्रांतों के जमातियों की अमरोहा, मेरठ, बहराइच आदि से बड़ी तादाद में रिहा किया जा रहा चुका है। लेकिन विदेशी जमातियों को विदेश नीति की बंदिशों के चलते और कानूनी अड़चनों के मद्देनजर अभी रिहा नहीं किया जा रही हैं। इसके बाद जिस-जिस देश से विदेशी जमाती भारत में फंसे हैं वहां के राजदूत और अफसर सरकार से संपर्क में हैं और रिहाई की कोशिश कर रहे हैं। हालांकि पुलिस ने इन जमातियों के खिलाफ चार्जशीट दाखिल कर दी है। कानून के जानकारों के मुताबिक अगर मुकदमा चलता है तो फिर उनका अपने देश जाना मुश्किल हो जाएगा।

विदेशी राजदूत और अफसरों ने की अपने मुल्क के जमातियों से मुलाकात
किर्गिस्तान के भारत में राजदूत असिन लसेव शुक्रवार को सहारनपुर पहुंचे थे। उन्होंने अस्थाई जेल में बंद किर्गिस्तान के जमातियों से मुलाकात कर हाल जाना। जरूरत का सामान मुहैया कराया। जल्द रिहाई का भरोसा दिया। दरअसल, सहारनपुर में 57 विदेशी जमातियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज है। वीजा नियमों का उल्लंघन करने के आरोप इन सभी को गिरफ्तार कर अस्थाई जेल में रखा गया हैं। इनमें 21 जमाती किर्गिस्तान के हैं। किर्गिस्तान के राजदूत जब सहारनुपर जेल पहुंचे उनके साथ अफसरों की टीम भी थी। वह जेल अफसरों से मिले। अपने देश के सभी नागरिकों से एक एक कर अलग बात की। राजदूत ने जेल अफसरों से कहा कि जमातियों की रिहाई की कोशिश उच्चस्तर पर चल रही हैं। सहारनुपर के जेल अधीक्षक डॉक्टर वीरेश राज शर्मा के मुताबिक किर्गिस्तान के राजदूत असिम लसेव ने सहारनपुर की अस्थाई जेल में बंद अपने देश के 21 नागरिकों से मुलाकात की। उन्हें जल्द रिहाई का भरोसा दिया। अपने साथ लाए कुछ खाने का समान जेल नियम के तहत जमातियों को दिया गया।

थाईलैंड के दूतावास के अफसरों ने जमातियों से मिल दिया भरोसा
मेरठ मंडल के जिला हापुड़ में इस्लाम के प्रचार के लिए आए थाईलैंड के नौ नागरिक फिलहाल धोलाना की अस्थाई जेल में बंद हैं। उनमें एक व्यक्ति को कोरोना की पुष्टि हुई थी। सभी पर टूरिस्ट वीजा पर आकर धर्म का प्रचार करने का आरोप है। शुक्रवार को थाईलैंट के भारत में स्थित दूतावास से दो अधिकारी अस्थाई जेल में उनसे मिले। एसडीएम विशाल यादव के मुताबिक थाईलैंड दूतावास अफसरों ने अपने देश के लोगों से मुलाकात की। एडीएम जयनाथ यादव का भी कहना है कि थाईलैंड दूतावास के अफसरों ने जेल में बंद अपने देश के नागरिकों से मुलाकात की। दरअसल, पांच मार्च को थाईलैंड के नौ व्यक्ति दिल्ली में तब्लीगी जमात में शामिल हुए थे। 19 मार्च का हापुड़ पहुंचे। 24 मार्च को धौलाना के हाबल गांव की एक मस्जिद में थाईलैंड के ये नौ लोग मिले थे। उनमें से एक व्यक्ति को कोरोना की पुष्टि हुई थी। पिलखुवा पुलिस ने पासपोर्ट जब्त कर उनके खिलाफ महामारी अधिनियम आदि की धारा में एफआईआर लिखी थी। उनके खिलाफ चार्जशीट दाखिल कर अस्थाई जेल में बंद कर दिया था।

इस तरह मिले थे जमाती
मेरठ जोन में खुफिया विभाग की तरफ से जारी आकड़े में मेरठ में कुल जमाती 292 मिले थे, जिनमें विदेशी 20 रहे। बागपत में कुल 230, विदेशी 28। सहारनपुर में कुल 330, विदेशी 118। शामली में कुल 320, विदेशी 25। मुजफ्फरनगर में कुल 465, विदेशी 66। हापुड़ में कुल 205, विदेशी 9। बुलंदशहर में कुल 223, विदेशी 16। गाजियाबाद में कुल 219, विदेशी 6 मिले थे। यीन कुल मजाती 2288 मिले थे, जिनमें विदेशी 248 विदेशी थे।

 

Input : Nav Bharat Times

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