मुजफ्फरपुर के तिरहुत दुग्ध उत्पादक सहकारी संघ के तिमुल कैम्पस में स्थापित राधा-कृष्ण की मूर्ति का पूजन जन्माष्टमी के शुभ अवसर पर किया गया। संघ में भगवान श्री कृष्ण की मूर्ति स्थापित करते हुए पूर्व प्रबंध निदेशक विजय कुमार ने कहा भगवान कृष्ण गोपालन पशुपालन के अध्येयता है और उनसे हमें गोपालन के रूप में प्राप्त होने वाले आर्थिक, सामाजिक एवं आध्यात्मिक लाभ को समझना होगा। यदि हम समझ गए तो यहीं हमारे लिए जीवनयापन का उत्तम साधन तथा भगवान के प्रति सच्ची पूजा एवं प्रार्थना होगी।
प्रबंध निदेशक एच एन सिंह ने भगवान कृष्ण को आदर्श मानते हुए गोपालन को सर्वश्रेष्ठ कार्य की कोटि में रखा। उन्होंने कहा कि गोपालन पशुपालन एवं कृषि सभी एक दूसरे पर आश्रित है। अच्छी खेती अच्छे पशुपालन पर एवं अच्छा पशुपालन अच्छी खेती पर निर्भर करता हैं।
वक्ताओं ने पशुपालन के प्रति जागरुकता को ध्यान में रखते हुए निम्न पंक्तियों को बार-बार दुहराया जो ‘कल का थीम’ वाक्य बन गया। ‘गोपालन से बढ़कर कर्म नहीं है दूजा! राम कृष्ण भी करते थे गो माता की पूजा!!’
वर्ष 2018 में स्थापित श्री कृष्ण राधा की मूर्ति का पूजन लगातार स्थापना काल से प्रभारी विपणन उमाकांत ठाकुर द्वारा किया जा रहा है क्योंकि भगवान श्री कृष्ण हीं वास्तव में दुग्ध उत्पादन के आराध्य देव हैं प्रेरणा श्रोत हैं।
प्रत्येक वर्ष संघ के सैकड़ों कार्यकर्ता पदाधिकारी एवं कर्मचारी उत्साह के साथ भगवान कृष्ण की पूजा अर्चना करते आए हैं जिसमें प्रतिमा सिन्हा, रमाकान्त ठाकुर जैलेन्द्र कुमार, संतोष, रंजन, रंजीत, संतोष की भूमिका सराहनीय रही।
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