सिवितावेकिया (इटली). कोरोना वायरस (Coronavirus) का डर लोगों के दिलों दिमाग में छाया हुआ है. इसके कह’र ने दुनिया के कई देशों को अपनी चपेट में ले रखा है. वा’यरस के डर के कारण करीब 6 हजार लोग इटली (Italy) में फंस गए हैं. दरअसल हुआ यूं कि इटली में गुरुवार को छह हजार से अधिक पर्यटकों को ले जा रहे एक जहाज पर कोरोना वायर’स के दो संदिग्ध मामले सामने आने पर उसे रोक दिया गया है. यह कब आगे बढ़ेगा इसकी अभी कोई जानकारी नहीं है.
बताया जा रहा है कि क्रूज शिप में मौजूद चीन के एक कपल की अचानक तबीयत खराब हो गई, उन्होंने बताया कि वे दोनों सर्दी-जुकाम से पीड़ित हैं. उसके बाद दोनों की जांच के लिए क्रूज शिप को इटली में रोक दिया गया.
डॉक्टरों की टीम ने लिए नमूने
स्थानीय स्वास्थ्य अधिकारियों ने कहा कि सिवितावेकिया में कोस्टा क्रोसिएरे नाम के जहाज पर बुखार से पीड़ित एक महिला को देखने के लिए तीन डॉक्टर और एक नर्स को भेजा गया. जिसके बाद चीनी जोड़े के नमूनों को जांच के लिए भेज दिया गया. कोस्टा क्रोसिएरे जहाज में करीब छह हजार लोग सवार थे. मकाउ की एक 54 वर्षीय महिला को अलग जगह रखा गया है.
वुहान से भारतीयों को किया जाएगा एयरलिफ्ट
चीन में संक्रमण से म’रने वालों की संख्या 213 तक पहुंच गई है. जिसको देखते हुए भारत सरकार ने वुहान से भारतीय छात्रों को एयरलिफ्ट कर स्वदेश लाने के एयर इंडिया का प्लेन रवाना कर दिया है. सरकार की योजना है कि दो प्लेन के जरिए वुहान में फंसे भारतीयों को निकाला जाएगा. भारत लाने के बाद इन्हें करीब 28 दिनों तक आइसोलेशन (संक्रमण फैलने से रोकने के लिए उन्हें एकांत और सुरक्षित जगह) में रखा जाएगा.
आमतौर पर संक्रमण फैलने से रोकने के लिए प्रभावित लोगों को 14 दिन तक अलग रखा जाता है. लेकिन कोरोना वाय’रस के संक्रमण के मामलों में ज्यादा गंभीरता बरती जा रही है. इसलिए अलग रखने की अवधि दोगुनी कर दी गई है.
(इस खबर को मुजफ्फरपुर न्यूज़ टीम ने संपादित नहीं किया है. यह न्यूज 18 फीड से सीधे प्रकाशित की गई है।)
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