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सरकारी बैंकों के निजीकरण को समाप्त कराने के लिए कर्मचारियों ने किया विरोध 

मुजफ्फरपुर: सरकारी बैंको के निजीकरण को समाप्त कराने को लेकर आज मुजफ्फरपुर में बैंक कर्मचारियों ने सड़क पर भ्रमण कर विरोध प्रदर्शन किया हैं। बैंक कर्मचारियों ने वित्त मंत्री के खिलाफ जम कर नारेबाजी की।  शहर के विभिन्न क्षेत्रों के बैंको के निजीकरन विरोध प्रदर्शन से कई वित्तीय कामकाज ठप हो गए, जिससे लोगों को समस्याओं का सामना करना पड़ा। बैंक कर्मचारी दिवाकर ने कहा कि बैंकों के निजीकरण को समाप्त किया जाए। सरकार ने जिन दो बैंको का वित्तीय बजट पेश किया था उसका निजीकरण किया जाएगा, लेकिन अभी तक उन दो बैंक के नाम की  घोषणा नहीं हुई हैं।

बैंक को प्राइवेट करने की बात सरकार ने की हैं। लेकिन अगर बैंक को प्राइवेट कर दिया जाएगा तो क्या सरकारी बैंक वाली सुविधा प्राइवेट बैंक के कर्मचारी को दी जाएगी।धीरे-धीरे सभी बैंक को यदि प्राइवेट बैंक कर दिया जाएगा तो प्राइवेट बैंक में 10,000 और 20,000 से खाते खोले जाते है क्या भारत देश का आम आदमी, या गरीब दर्जे के व्यक्ति खाता खोल पाएंगे। दिवाकर ने आगे कहा कि सरकार की सारी सरकारी योजनाओं का कामकाज सरकारी बैंको से किया जाता हैं। प्रधानमंत्री विदेश जाते है तो बोलते है इतने खाते खोल दिए हैं लेकिन किसने खोला ये नहीं बोलते हैं। जन धन योजना जैसी अन्य योजनाएं सभी सरकारी बैंक के माध्यम से पूरी की जाती हैं। दिवाकर ने आगे सरकार से मांग कि की बैंको का निजीकरण को समाप्त  किया जाए और सरकारी बैंको सभी उपकरणों को जीवित रखा जाए।

 

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