पटना: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की गया और पूर्णिया की चुनावी जनसभा में बिहार के मुख्यमंत्री और जेडीयू के अध्यक्ष नीतीश कुमार की गैर-मौजूदगी को लेकर तमाम अटकलों और विपक्षी नेताओं के तंज पर जेडीयू नेता ललन सिंह ने साफ कर दिया है कि एनडीए के सीनियर नेता राज्य में अलग-अलग चुनाव प्रचार करेंगे। ललन सिंह ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खुद तय किया है कि सभी नेता अलग-अलग प्रचार करेंगे। उन्होंने कहा कि पीएम की बिहार में शुरू की सभाओं में मुख्यमंत्री नीतीश कुमार गए थे। उसके बाद प्रधानमंत्री मोदी ने कहा कि सबको मेरे कार्यक्रम में आने की जरूरत नहीं है। सभी नेता अलग-अलग चुनाव प्रचार करेंगे।
लोकसभा चुनाव के ऐलान के बाद पीएम मोदी की जमुई, नवादा, गया और पूर्णिया में चुनावी रैलियां हुई हैं। इन चार रैलियों को उस सीट पर लड़ रहे कैंडिडेट की पार्टी के हिसाब से देखें तो पीएम मोदी ने जमुई में चिराग पासवान की लोजपा-आर के अरुण भारती, नवादा में भाजपा के विवेक ठाकुर, गया में हम के जीतन राम मांझी और पूर्णिया में जेडीयू के संतोष कुशवाहा के लिए वोट मांगे। नीतीश पीएम मोदी की जमुई और नवादा रैली में शामिल हुए थे। नवादा की सभा में नीतीश ने भाजपा के 400 सीट जीतने के मिशन की चर्चा करते हुए 400 पार को 4000 पार सीट कह दिया था।
गया और पूर्णिया की रैली में जब नीतीश नहीं गए तो आरजेडी नेता तेजस्वी यादव ने आरोप लगाया था कि भाजपा नीतीश को पीएम की रैली में आने से रोक रही है। तेजस्वी ने आज कहा कि उनकी पार्टी में दो-चार लोग हैं जो उनका इस्तेमाल कर रहे हैं। वो एक किताब लिखेंगे जिसमें उन दो-चार लोगों का नाम भी बताएंगे जो नीतीश की छवि को धूमिल कर रहे हैं। तेजस्वी ने पूछा कि बीजेपी को किस बात का डर है कि सीएम को नहीं बुला रही है। तेजस्वी ने कहा- “इतिहास में पहली बार देखा है कि चुनाव के समय मुख्यमंत्री घर में कैद हैं। अब वह घर में हैं या उन्हें घर पर बैठा दिया गया है, यह सवाल तो उठता है।”
मुख्यमंत्री नीतीश कुमार शुक्रवार को बांका, भागलपुर और मधेपुरा लोकसभा क्षेत्र में चुनावी सभा करेंगे। इन तीनों सीटों पर एनडीए गठबंधन के तहत जदयू के उम्मीदवार ही मैदान में हैं। बांका और भागलपुर में दूसरे चरण में 26 अप्रैल को मतदान है जबकि मधेपुरा में तीसरे चरण में 7 मई को वोटिंग होगी।
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