बिहार में ऐसे दो मामले सामने आएं हैं, जिसमें अदालत द्वारा जिस दिन ट्राय’ल शुरू किया गया ,उसी दिन सा’क्ष्यों की प्रस्तुति से लेकर गवा’ही तक हुई और अभि’युक्तों को दोष’सिद्ध करा’र देते हुए स’जा भी सुना दी गई हैं। मिली जानकारी के अनुसार, पुलिस मुख्यालय के मुताबिक बला’त्कार से जुड़े अररिया महिला थाना कां’ड संख्या 124/21 में अभियु’क्त राजकुमार यादव को न्याया’लय द्वारा एक दिन में ट्रा’यल पूरा कराकर आजी’वन कारा’वास की सजा सुनाई गई। इसमें पॉ’क्सो एक्ट भी लगा था। वहीं नालंदा के राजगीर थाना कां’ड संख्या 165/21 जिसमें 341/377 के साथ 8/12 पॉ’क्सो एक्ट लगा था उसमें अभियुक्त को न्यायाल’य जेजे बोर्ड के द्वारा एक दिन में ट्रा’यल पूरा किया गया। इस मामले में अभियु’क्त को 3 वर्ष के लिए विशे’ष गृ’ह में आवा’सित रखने का आदेश दिया गया हैं।
पुलिस मुख्यालय द्वारा जारी किए गए आंकड़ों के मुताबिक वर्ष 2021 में 1557 मामलों में स्पी’डी ट्रा’यल के जरिए विभिन्न अदा’लतों द्वारा 2631 अभियु’क्तों को स’जा सुनाई गई। इनमें 27 को फां’सी जबकि 705 अभि’युक्तों को आ’जीवन का’रावास की स’जा हुई। वहीं 322 अभि’युक्त ऐसे हैं जिन्हें 10 वर्ष से अधिक की स’जा मिली है।आकंड़ों के मुताबिक अदालतों द्वारा दोषसिद्ध करार दिए जाने के बाद जो सजा सुनाई गई उसमें हत्या के 687 जबकि बलात्कार के 235 अभियुक्त शामिल हैं। इसके अलावा आर्म्स एक्ट में 166, डकैती में 13, अपहरण में 58, मद्यनिषेध में 313, एससी-एसटी एक्ट में 99, पॉक्सो एक्ट के तहत 315 और अन्य अपराधों में 745 अभियुक्तों को स्पीडी ट्रायल के जरिए वर्ष 2021 में सजा हुई।
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