बिहार में डेंगू लगातार अपने पांव पसार रहा है। हर उम्र वर्ग के लोगों को डेंगू अपना शि’कार बना रहा है। पटना में 20 से 30 आयु वर्ग के युवा सबसे अधिक डेंगू से पी’ड़ित हो रहे हैं। राज्य के अन्य जिलों में भी लगभग यही स्थिति है। इसका मुख्य कारण ऐसे युवाओं के बीमारी के बाद भी गतिमान रहना माना गया है।
पटना में इस आयु वर्ग के अब तक 720 युवा डेंगू के शिकार हो चुके हैं। जिले में अब तक 1844 लोग डेंगू से पी’ड़ित हैं, जिसमें सबसे अधिक शहरी क्षेत्र के हैं। पी’ड़ितों में पुरुषों की संख्या महिलाओं से दोगुनी है।
प्रशासनिक आंकड़ों के अनुसार पटना जिले में 20 से 30 आयु वर्ग के 720 पी’ड़ित हैं। 11 से 20 आयु वर्ग के 535 और 30 से 40 आयु वर्ग के पी’ड़ित होने वालों की संख्या 224 है। 40 से 50 आयु वर्ग से पी’ड़ित लोगों की संख्या 115 है। 10 आयु वर्ग के 91 बच्चे भी पीड़ित हैं। 50 से 60 आयु वर्ग के 71 तथा 60 साल से अधिक उम्र के 52 बुजुर्ग लोग डेंगू पीड़ित हैं।
विशेषज्ञों का कहना है कि वैसी महिलाओं में अधिक बीमारी हुई हैं जो कामकाजी हैं। इस बीमारी से गृहिणियां काफी कम बीमार हुई हैं। इसकी वजह यह है कि उन्हें काम के लिए घर से बाहर और असुरक्षित माहौल में जाना पड़ता है। बाजार में या सड़कों पर उन्हें मच्छर और गंदगी वाले इलाकों से भी गुजरना पड़ता है।
विशेषज्ञ से मिली जानकारी के मुताबिक, यदि आप बीमारी से पी’ड़ित हो जाते हैं तो नियमित और उचित उपचार के साथ घर में आराम करें। रात में सोते समय मच्छरदानी का जरूर प्रयोग करें। जो लोग घरों से बाहर निकलते हैं वे फुल स्लीव वाले कपड़े पहनें। अन्य तरीकों से भी शरीर के ज्यादा से ज्याता भाग को ढक कर रखें। घर, ऑफिस या अपने कार्य स्थल पर कहीं भी पानी जमा नहीं होने दें। आते-जाते समय जल जमाव और गंदगी वाले इलाकों से गुजरने से बचें। अपने आसपास कहीं जलजमाव है तो वहां से पानी निकालने का प्रयास करें। समय समय पर अपने स्वास्थ्य की जांच कराएं।
Be First to Comment