राष्ट्रीय जनता दल (आरजेडी) की ओर से आयोजित इफ्तार पार्टी में नीतीश कुमार की शिरकत के बाद से बिहार की राजनीति में बदलाव को लेकर चल रही अटकलों के बीच अब नेता विपक्ष तेजस्वी यादव ने रिएक्शन दिया है। बिहार के पूर्व उपमुख्यमंत्री ने सोमवार को किसी ‘राजनीतिक मोड़’ की कल्पना को लेकर आगाह करते हुए कहा कि वह बीजेपी और आरएसएस से जुड़ी ताकतों से लड़ते रहेंगे।
तेजस्वी ने कहा कि आरजेडी ने कभी आरएसएस, भाजपा और उनके सहयोगियों से कभी प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष समझौता नहीं किया है। हालांकि, ज्यादा समय नहीं हुआ है जब आरजेडी ने भाजपा के पुरानी साथी जदयू के साथ मिलकर सरकार बनाई थी। तेजस्वी यादव ने पीटीआई को दिए इंटरव्यू में 2024 लोकसभा चुनाव को लेकर विपक्षी गठबंधन बनाने पर जोर दिया और कहा कि कांग्रेस उन 200 सीटों पर फोकस करे जहां उसकी बीजेपी से सीधी लड़ाई है, जबकि जहां क्षेत्रीय दल मजबूत हैं वहां बैकसीट पर बैठे।
आरजेडी की इफ्तार पार्टी में नीतीश कुमार की मौजूदगी को लेकर तेजस्वी से पूछा गया कि क्या वह एक बार फिर जदयू से हाथ मिलाने को तैयार हैं? उन्होंने कहा, ”हमारी पार्टी इफ्तार और मकर संक्रांति (दही चूड़ा) पार्टी दो दशक से अधिक समय से करती आ रही है। हम हमेश आम लोगों के साथ ही सभी पार्टियों के वरिष्ठ नेताओं को बुलाते रहे हैं। यह पूरी तरह से परंपरा से जुड़ा हुआ कार्यक्रम है। इससे किसी को केवल शांति, भाईचारे और सद्भाव का संदेश निकालना चाहिए।”
बिहार विधानसभा में विपक्ष के नेता ने कहा, ”हमने शुरुआत से साफ कर दिया है कि किसी भी राजनीतिक मोड़ की कल्पना करना इस अवसर की पवित्रता को कमजोर करता है।” अतीत में उनकी टिप्पणियों के बारे में पूछे जाने पर कि नीतीश कुमार भरोसेमंद नहीं और क्या सरकार में बदलाव होने वाला है? आरजेडी नेता ने कहा कि केवल उनके दल ने कसभी अपनी विचारधारा और सिद्धांत से समझौता नहीं किया है।
तेजस्वी यादव ने कहा, ”हमने कभी आरएसएस, भाजपा या उनके सहयोगियों से प्रत्यक्ष या अप्रत्यक्ष रूप से हाथ नहीं मिलाया है। हम छोटे लाभ और सुविधा की विचारधारा पर राय नहीं बनाते हैं। हम अधिकनायकवादी और गैर-संवैधानिक ताकतों से लड़े हैं और लड़ते रहेंगे, जो बीजेपी, आरएसएस और एनडीए के काडर से जुड़े हैं। इसलिए विचारधारा में बदलाव का कोई सवाल ही नहीं है।”
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