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कुत्तों का आ’तंक : 20 दिन में ली दो बच्चियों की जा’न

कुत्तों का आ’तंक कम नहीं हो रहा है। उत्तरप्रदेश के सराहनपुर जिले में कुत्तों ने एक और बच्ची को मौ’त के घाट उता’र दिया। कुत्ते ने बाजार से लौटते समय बच्ची को नों’चा था। जिसके बाद उसकी अस्पताल में उपचार के दौरान मौ’त हो गई। कुत्ते के नो’चने से किशोरी की मौ’त होने के बाद पूरे गांव आसपास के इलाके में दह’शत फैल गई।

आवारा कुत्तों का आतंक - Sarita Magazine

मिली जानकारी के मुताबिक, करीब 20 दिन पहले आवारा कुत्तों ने चिलकाना के बुड्ढाखेड़ा गांव में एक मासूम बच्ची को नों’चकर मौ’त के घाट उ’तार दिया था। जिसके बाद आवा’रा कुत्तों के आतं’क सुर्खियों में आ गया था। इसके दो दिन बाद ही तीतरों में कुत्ते एक तीन साल की बच्ची को खीं’चकर ले गए थे। जिसके बाद बच्ची का कोई पता नहीं चला। ग्रामीणों ने आशंका जताई थी कि बच्ची को कुत्तों ने नों’च लिया है।

वेस्ट यूपी में में कुत्तों को आ’तंक छाया हुआ है। मेरठ-सहारनपुर मंडल के जिलों का हाल देखें तो करीब छह सौ लोगों के आसपास रोजाना आवारा आतं’क यानी कुत्तों का शि’कार हो रहे हैं। हालांकि, सभी जनपदों के जिला अस्पतालों में एंटी रेबीज के इंजेक्शन पर्याप्त मात्रा में हैं, जो पी’ड़ितों को लगाए जा रहे हैं।

Dog terror in Patna Not a single dog has been sterilized in Patna in a year  - कुत्तों का आतंक: पटना में एक साल में एक भी कुत्ते की नहीं हुई नसबंदी

बिजनौर में कुत्तों के का’टने की घट’नाएं बढ़ रही हैं। जिले में पांच सालों में कुत्ते के काटने से 8 लोगों की मौ’त हो गई है और सैकड़ों घा’यल हुए हैं। जिला अस्पताल में प्रतिमाह करीब ढाई हजार इंजेक्शन लोगों के लग रहे हैं।

चिलकाना क्षेत्र में कुत्तों का सबसे अधिक आतंक है। चिलकाना में अब तक तीन बच्चों को कुत्ते मौत के घाट उतार दिया गया है। वहीं, पूरे जिले में 12 से अधिक घटनाए हो चुकी हैं।

बताया जा रहा है कि किशोरी को नों’चने वाला कुत्ता पालतू था। बच्ची की मौ’त के बाद कुत्ते के मालिक ने परिजनों से मिलकर इस बात पर दुख व्यक्त किया था।

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