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परिजन अब मोबाइल पर ही जानेंगे अपने मरीज का हाल, IGIMS बना रहा एप; सुविधा कब से?

इंदिरा गांधी आयुर्विज्ञान संस्थान (आईजीआईएमएस) में इलाज कराने वाले मरीजों से संबंधित जानकारी उनके परिजन मोबाइल के माध्यम से भी प्राप्त कर सकेंगे। इसके लिए जल्द ही एक नया मोबाइल एप विकसित होगा। उस एप पर मरीजों की बीमारी, इलाज करनेवाले डॉक्टर, जांच व उसकी रिपोर्ट, दवाइयां और उनके असर के बारे में भी जानकारी मिलेगी। यह जानकारी ना सिर्फ उनके परिजन बल्कि देशभर के अन्य अस्पतालों के चिकित्सक भी चाहें तो देख सकेंगे। अगले एक से डेढ़ माह में यह काम शुरू हो जाएगा। भारत सरकार की योजना नेशनल डिजिटल हेल्थ मिशन के तहत ऐसा किया जा रहा है।

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आईजीआईएमएस में इलाज करानेवाले सभी मरीजों से सबंधित डाटा बनाने का काम पिछले सप्ताह से शुरू हो गया है। भारत सरकार की एजेंसी सी-डैक (सेंटर फॉर एडवांस कंप्यूटिंग) द्वारा मरीजों से सबंधित डाटा का इलेक्ट्रॉनिक डॉक्यूमेंटेशन तैयार किया जा रहा है। इसमें अस्पताल के ओपीडी से लेकर भर्ती मरीजों के इलाज से संबंधित सभी जानकारी रखी जाएगी। देशभर के अस्पतालों से संबंधित आंकड़े ऐसी साइट पर उपलब्ध होंगे जिसका इस्तेमाल अस्पताल के चिकित्सक कर सकेंगे। आईजीआईएमएस में डॉक्यूमेंटेशन तैयार करने और डाटा से संबंधित कार्यों के लिए सर्जरी विभाग के डॉ. प्रेम प्रकाश को नोडल पदाधिकारी बनाया गया है।

एआई और एडवांस कंप्यूटिंग का हो रहा इस्तेमाल

मरीजों के इलाज से संबंधित डाटा संग्रहण, नए शोध तथा मरीज सेवा को बेहतर बनाने में सी-डैक द्वारा आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस, मशीन लर्निंग, एडवांस कंप्यूटिंग जैसे अत्याधुनिक उपकरणों का इस्तेमाल किया जा रहा है। इस कार्य में सी-डैक के विशेषज्ञ लगातार आईजीआईएमएस के चिकित्सकों के संपर्क में रहेंगे। उपनिदेशक सह अस्पताल अधीक्षक डॉ. मनीष मंडल ने बताया कि आईजीआईएमएस में प्रतिवर्ष हजारों की संख्या में मरीज भर्ती होकर इलाज कराते हैं। लाखों की संख्या में ओपीडी के स्तर पर इलाज होता है। सीडैक के विशेषज्ञ इन मरीजों की बीमारियों, उनसे जुड़े इलाज, इलाज की सटीकता, यहां तक कि उनपर इस्तेमाल की गई दवाइयों तक डाटा संग्रह करेंगे। देश के दूसरे अस्पतालों में भी इस तरह का डाटा का संग्रहण किया जा रहा है। इसका फायदा ना सिर्फ मरीजों को सटीक इलाज के रूप में मिलेगा बल्कि राज्य व देशभर के अन्य अस्पतालों के चिकित्सकों व विशेषज्ञों को मिलेगा।

शोध में भी करेंगे मदद

सी-डैक के विशेषज्ञ न सिर्फ मरीजों के डाटा संग्रहण में बल्कि इन डाटा की मदद से नए-नए शोध में भी आईजीआईएमएस के चिकित्सकों की मदद करेंगे। मेडिकल उपकरण बनाने, दवाइयों के निर्माण, रिसर्च पेपर आदि कार्यों में भी यहां के चिकित्सकों व शोधार्थियों को इससे मदद मिलेगी। अस्पताल में मरीजों से संबंधित अन्य सुविधाओं को बेहतर बनाने में भी सी-डैक मदद करेगा।

एक मई को सी-डैक से हुआ था करार

मरीजों से संबंधित डाटा संग्रहण की योजना भारत सरकार की है। सरकार की एजेंसी सी-डैक से आईजीआईएमएस का करार एक मई को हुआ था। आईजीआईएमएस की ओर से संस्थान निदेशक डॉ. बिन्दे कुमार तथा सी-डैक की ओर से पटना शाखा के निदेशक डॉ. आदित्य कुमार सिन्हा ने करार पर हस्ताक्षर किया था।

 

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