बिहार में सक्षमता परीक्षा पास शिक्षक अभ्यर्थियों के तरफ से ट्रांसफर को लेकर आवेदन शुरू किया जा चुके हैं। एक आंकड़े के मुताबिक सूबे के अंदर अब तक 60000 से अधिक शिक्षकों ने ट्रांसफर के लिए आवेदन दिया है। इसके बाद अब खबर है कि शिक्षकों को जनवरी के पहले सप्ताह में उनके इच्छा के अनुसार ट्रांसफर कर दिया जाएगा।
जानकारी के अनुसार राज्य के शिक्षकों को मन मुताबिक तबादले का लाभ जनवरी के पहले सप्ताह तक दे दिया जाएगा। उसके साथ ही शिक्षा करना है आवंटित स्कूल में अपना योगदान करेंगे। इस बात की जानकारी शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव डॉक्टर एस सिद्धार्थ ने दी है। डॉ एस सिद्धार्थ ने बताया कि तबादले को लेकर शिक्षा विभाग तेजी से कम कर रही है। मन मुताबिक ट्रांसफर का लाभ लेने वाले शिक्षकों से ऑनलाइन आवेदन मांगे गए हैं विभाग इसको लेकर काफी गंभीर।
इसके अलावा उन्होंने कहा कि शिक्षक ने जो विकल्प दिए हैं उसके आसपास ही उन्हें स्कूल आवंटित किया जाएगा। विभाग चाहता है कि बिना तनाव के शिक्षक काम करें। शिक्षकों के तबादले को लेकर विभाग बिल्कुल उदार रवैया अपनाएगा।इधर एक सवाल पर शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव ने कहा कि यदि कोई शिक्षक अररिया से कैमूर जाना चाहते हैं या फिर कैमूर से अररिया जाना चाहते हैं तो हम लोगों को कोई दिक्कत नहीं है। हम लोगों का जोर बच्चों के पढ़ाने पर है। हम लोग चाहते हैं कि जहां शिक्षक जाते हैं वहीं ठीक से बच्चों को पढाएं।

गौरतलब हो कि 10 दिसंबर तक शिक्षा विभाग को ट्रांसफर के लिए आवेदन 60 हजार 205 आदेवन मिला है। जिसमें से सबसे ज्यादा आवेदन आवास से दूर के लिए शिक्षकों ने आवेदन दिया है। वरीयता क्रम के आधार पर शिक्षक स्थानांतरण अनुरोध करने वालों में असाध्य रोग (विभिन्न प्रकार के कैंसर) के 271, गंभीर बीमारी के 790, विशेष रूप से सक्षम के आधार पर स्व-नियुक्त के 2,454 ऑटिज्म/मानसिक रूप से सक्षम के 481, विधवा और तलाकशुदा शिक्षक के 416, पति/पत्नी की पोस्टिंग के आधार पर 5,500 और वांछित स्थान से वर्तमान पोस्टिंग की दूरी के आधार पर आवेदन करने वाले 50,293 हैं। इस प्रकार कुल 60 हजार 205 आवेदन ट्रांसफर के लिए आए हैं।
मालूम हो कि, शिक्षा विभाग ने शिक्षकों से ऐच्छिक तबादले के लिए ऑनलाइन आवेदन मांगे थे। शिक्षकों को उनके द्वारा दिए गए विकल्पों के आसपास ही नया स्कूल आवंटित किया जाएगा। विभाग का लक्ष्य है कि शिक्षक बिना किसी तनाव के अपने काम पर ध्यान केंद्रित कर सकें। बच्चों की पढ़ाई में कोई दिक्कत ना आए।

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