छपरा : सारण जिले में एक निजी कार्यक्रम में शामिल होने आए बिहार के पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने मीडियाकर्मियों से बातचीत करते हुए कहा कि सरकार को बिहार में शराबबंदी कानून पर पुनर्विचार करना चाहिए।
उन्होंने कहा कि शराबबंदी करने से लोगों को शराब नहीं बनाने और पीने के लिए प्रेरित व जागरूक करना ज्यादा जरूरी है। पूर्व सीएम ने कहा कि बिहार में इस कानून से शराब बन्द नहीं हुआ, बल्कि इसकी बक्रिी और बढ़ गई है। इस कानून के कारण सैकड़ों गरीब जेल में बंद है और पुलिस प्रशासन के लोग मालामाल हो रहे हैं।
पूर्व सीएम ने राम को भगवान मानने से एक बार फिर इंकार करते हुए कहा कि राम रामायण के एक पात्र हो सकते हैं। उनके लिए वे भगवान नहीं हो सकते।
मांझी ने देश में जातीय जनगणना की जरूरत पर बल देते हुए इसे गरीबों के हित में बताया और पीएम से जातीय जनगणना कराने की अपील भी की। उन्होंने जोर देते हुए कहा कि तेजस्वी यादव और चिराग पासवान की दोस्ती से बिहार में एनडीए को कोई नुकसान नहीं होगा।
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